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Wednesday, December 19, 2012

ग़ज़ल


जो दिल की जबान रेशमी अदा में शब्दों की डोली में आँखों से छलकती हैं उसे ग़ज़ल कहतें हैं :- 


मेरी तलाश हो तुम -2
तुझको मैंह्फुज रखेगें 
दिल की जन्नत में  
 मेरी तलाश हो तुम -2
गर हैं प्यार दुआँ ...
तो दुआँ  तुम  रहो 
गर हैं सज़ा भी इश्क 
तो सजा में मैं ही रहूँ ..
डालकर तुम पर   आलिशान सा मन 
 तुझको मैंह्फुज रखेगें 

दिल की जन्नत में  
 मेरी तलाश हो तुम -2

न कोई शक हैं ना शुबां ही सनम 
तेरी सासों के संग हैं 
 शबनमी   राबिता सा सनम 
सौपकर तुझको  सुगंध महल
 तुझको मैंह्फुज रखेगें 
दिल की जन्नत में  
 मेरी तलाश हो तुम -2

तेरी दिल की सिलवटों में 
ना होगी कोई अर्जी  मेरी 
रचना हु मैं तेरी 
 चाहें तू अब जैसे भी पढ़ 
तुझको मैंह्फुज रखेगें 
दिल की जन्नत में  
 मेरी तलाश हो तुम -2


चाहतों में कभी कोई इल्जाम न  देंगें   तुम्हें 
चाहो तो रख लो हर शय 
जो बारिश में बिखरें थें कभी 
मेरी पहचान हो तुम
तुझको मैंह्फुज रखेगें 
दिल की जन्नत में  
 मेरी तलाश हो तुम -2

*********************  





5 comments:


  1. जो दिल की ज़बान
    रेशमी अदा में
    शब्दों की डोली में
    आंखों से छलकती हैं
    उसे ग़ज़ल कहते हैं ...

    वाह ! वाह ! वाऽह ! क्या बात है !
    बहुत खूब !

    वंदना जी
    शुक्र है , मैं संयोगवश नेट-भ्रमण करते हुए आपके खूबसूरत ब्लॉग पर पहुंचा ... और ग़ज़ल के बारे में नई जानकारी पा सका
    :)

    तेरी दिल की सिलवटों में
    ना होगी कोई अर्ज़ी मेरी
    रचना हूं मैं तेरी
    चाहे तू अब जैसे भी पढ़ ...

    रचना हूं मैं तेरी
    चाहे तू अब जैसे भी पढ़ ... ... ...

    आहा हा ... बहुत खूबसूरत !

    बहुत सुंदर …
    अच्छे काव्य-प्रयास के लिए बधाई !

    लिखती रहें … और श्रेष्ठ लिखती रहें …
    …आपकी लेखनी से सुंदर सार्थक रचनाओं का सृजन होता रहे , यही कामना है …

    शुभकामनाओं सहित…

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    Replies
    1. आपकी तारीफ के लियें दिल से सुक्रिया ....मनोबल और ऊचा होता हैं
      राजेंद्र जी

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  2. गजल की बातों से थोड़ा सा हैरान हूँ.. खैर
    ----------------------------------------------
    लोग हर बात का अफसाना बना लेते हैं
    सब को हालात की रुदाद सुनाया न करो

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    Replies
    1. राहुल जी ये ग़ज़ल हैं जो खुद का नही औरों का हाल ब्यान करती हैं
      और फिर लिखने वालें तो जाने कहाँ तक झांक लेतें हैं ......आपको ग़ज़ल कैसी लगी

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  3. आशीष और शुभकामनायें

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